कवर्धा : छत्तीसगढ़ के कवर्धा जिले के अधिकांश हिस्साें में मंगलवार को बारिश हुई है। इस बारिश के बीच में आकाशीय बिजली की चपेट में आने से एक बुजुर्ग महिला की माैत हो गई है। वहीं बुजुर्ग महिला के साथ में रहे एक 9 वर्षीय बालक भी घायल है। इसके अलावा ग्राम पंचायत विचारपुर में आकाशीय बिजली के चपेट में आने से 7 बैल घायल व 2 बैल की मौत हुई है। पूरा मामला पंडरिया ब्लॉक के वनांचल थाना क्षेत्र के कुकदूर की है। इस बीच घायल बच्चे को बचाने के लिए कुप्रथा भी सामने आया है। घायल बच्चे को बचाने के लिए कोदो में रखा गया। स्वास्थ्य विभाग की टीम ने अस्पताल ने बच्चे काे अस्पताल में भर्ती कराया है।
मिली जानकारी अनुसार कुकदूर थाना क्षेत्र के ग्राम पंचायत नेऊर के आश्रित गांव परसाटोला के निवासी भादिया पति सुखराम उम्र 61 की महिला अपने 9 वर्षीय नाती के साथ गाय को चरा रही थी। आकाशीय बिजली की चपेट में आने से महिला की मौत हो गई। नाती बेहोश होकर गिर गया। होश आने पर रोना शुरू किया। आसपास के लोगों ने घायल बालक को घर लेकर गए। इसी कोदो फसल के नीचे दबाया गया था। वहीं पुलिस व स्वास्थ्य विभाग को जानकारी मिलने के बाद घायल लड़के को अस्पताल भेजा गया। बुजुर्ग महिला के शव को भी अस्पताल में रखा गया। बुधवार को पीएम को हाेगा।
मौके पर पहुंचे स्वास्थ्य व पुलिस की टीम
घटना के संबंध में जानकारी मिलते ही मौके पर कुकदूर पुलिस व स्वास्थ्य विभाग की टीम पहुंच गई थी। देर शाम तक यह टीम गांव में रूकी रही है। संजीवनी गाड़ी 108 पंडरिया से बुलाया गया था, जिसमें मरीज को इलाज के लिए कुकदुर ले गए। वनांचल क्षेत्र होने के कारण पंडरिया से भी गाड़ी आया था। इस मामले में कुकदूर पुलिस द्वारा जांच किया जा रहा है। वहीं परिजनों के रो-राे कर बुरा हाल है। क्याेंकि, ये घटना अचानक घटी है। वर्तमान में बच्चे का उपचार चल रहा है।
मौसम विभाग ने अलर्ट जारी किया था
जिले में बदलते मौसम के बीच में मौसम विभाग ने आकाशीय बिजली के संबंध में अलर्ट भी जारी किया था। वहीं पूर्व में ही जिला प्रशासन ने आकाशीय बिजली से बचने के लिए आम नागरिकों से सावधानियां बरतने की अपील की गई थी। जिसके अंतर्गत आकाशीय बिजली चमकते या गरजते समय यदि घर में हो तो पानी का नल, फ्रिज, टेलीफोन आदि को न छुएं और उससे दूर रहें तथा बिजली से चलने वाले यंत्रों, उपकरणों को बंद कर दें। यदि दो पहिया वाहन, साइकिल, ट्रक, खुले वाहन नौका आदि पर सवार हो तो तुरंत उतरकर सुरक्षित स्थानों पर चले जाएं। आकाशीय बिजली के दौरान वाहनों पर सवारी न करें, धातु की डंडी वाले छाते का उपयोग न करें। टेलीफोन व बिजली के खम्भे तथा टेलीफोन व टेलीफोन टावर से दूर रहें। यदि आप जंगल में हो तो छोटे एवं घनें पेड़ों की शरण में चले जाये, तालाबों, झीलों और अन्य जलस्त्रोतों से यथा संभव दूर रहें।
मिलेगा आर्थिक सहायता राशि
बरसात के मौसम में प्राकृतिक आपदा के अधिकांश घटना घटती है जैसे आकाशीय बिजली का गिरना, नदी नालों में बाढ़, पेड़ गिरना, फसल क्षति, मकान ढहना, सर्प बिच्छू के काटने डंक से लोगों की मृत्यु होती है। राज्य सरकार ने प्राकृतिक आपदा से मनुष्य, पशु, घर, फसल आदि को होने वाले क्षति के लिए राजस्व और ऊर्जा विभाग (विद्युत कंपनी) के माध्यम से शासकीय कार्रवाई के बाद पीड़ित या उसके परिजन को आर्थिक अनुदान सहायता राशि देने का प्रावधान किया है। सरकारी अनुदान सहायता राशि प्राप्त करने के लिए पीड़ित या उनके परिजनों को घटना के हिसाब से सरकारी या निजी अस्पताल में इलाज और पुलिस वाले केस में थाना में रिपोर्ट दर्ज करना चाहिए। सरकारी कार्रवाई में इन सभी दस्तावेजों की जरूरत होती है। वहीं मंगलवार को हुए इस घटना के बाद पीड़ित परिवार के सदस्य को सहायता राशि दी जाएगी। इसके लिए राजस्व विभाग द्वारा कार्रवाई की जाएगी।
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