रायपुर : छत्तीसगढ़ में भाजपा ने मुख्यमंत्री के नाम का ऐलान कर दिया गया है. प्रदेश में दो उपमुख्यमंत्री होंगे. जिसमें अरुण साव और विजय शर्मा के नाम पर सहमति बनी है. बता दें कि विष्णुदेव साय ने राज्यपाल से मुलाकात कर सरकार बनाने का दावा पेश किया है. जानकारी के मुताबिक 12 या 13 दिसंबर को वे शपथ ले सकते हैं. हालांकि इन सब की औपचारिक घोषणा नहीं हुई है.
रमन सिंह हो सकते हैं विधानसभा अध्यक्ष
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक प्रदेश के 3 बार के सीएम और बीजेपी वरिष्ठ नेता डॉ. रमन सिंह को विधानसभा का अध्यक्ष बनाया जा सकता है.
कौन है विजय शर्मा
चर्चित कवर्धा विधानसभा से भाजपा के विजय शर्मा ने कांग्रेस के कद्दावर मंत्री रहे मोहम्मद अकबर को 39592 वोटों के अंतर से चुनाव हराया है।सामुदायिक तनाव व हिंसा के बाद हाईप्रोफाइल सीट बनी कवर्धा से भाजपा ने विजय शर्मा को अपना प्रत्याशी बनाया था। विजय शर्मा वर्तमान में प्रदेश भाजपा संगठन में महामंत्री के पद पर है। पोस्ट ग्रेजुएशन की डिग्री हासिल कर चुके विजय शर्मा कवर्धा के जिला भाजपा अध्यक्ष भी रह चुके हैं। इसके अलावा जिला पंचायत सदस्य रह चुके हैं। 50 वर्षीय विजय शर्मा को भाजपा के तेज तर्रार नेताओं में गिना जाता है। वे भाजयुमो के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष भी रहे। पिछले पांच सालों से सत्ताधारी पार्टी से लड़ाई लड़ने के दौरान झंडा कांड में जेल भी गए थे।
विजय शर्मा के पिता का नाम रतन लाल शर्मा है। वे मकान नंबर 26 शास्त्री मार्ग महावीर स्वामी चौक कवर्धा तहसील कवर्धा जिला कबीरधाम के रहने वाले हैं। उनका मोबाइल नंबर 9425564966 है। उनका विवाह रश्मि शर्मा से हुआ है तथा पुत्र का नाम अभिनव शर्मा है। विजय शर्मा ने शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय कवर्धा माध्यमिक शिक्षा मंडल भोपाल मध्य प्रदेश से सन 1991 में 12वीं बोर्ड पास किया है। इसके बाद पंडित रवि शंकर शुक्ल यूनिवर्सिटी रायपुर से संबद्ध शासकीय महाविद्यालय कवर्धा से 1994 में बीएससी गणित किया है। 1996 में पंडित रविशंकर शुक्ल यूनिवर्सिटी रायपुर से भौतिक शास्त्र में एमएससी किया है। पंडित रविशंकर शुक्ल विश्वविद्यालय रायपुर से ही 1997 में पीजीडीसीए किया है। सन 1998 में पंडित रविशंकर शुक्ल विश्वविद्यालय रायपुर से डिप्लोमा इन इंग्लिश किया है। 2001 में भोज विश्वविद्यालय मध्य प्रदेश भोपाल से एमसीए किया है।
कवर्धा विधानसभा सीट में झंडा विवाद का बड़ा असर देखने को मिला है। वर्ष 2021 में कवर्धा शहर में हुए झंडा विवाद के चलते कर्फ्यू की स्थिति बनी थी और प्रदेश भर के बड़े अफसर व पुलिस बल को कवर्धा में तैनात करना पड़ा था। हालात यहां तक बने कि पुलिस अधीक्षक का लॉ एंड ऑर्डर के चलते तबादला करना पड़ा। भाजपा ने इस सीट पर हिंदुत्व को मुद्दा बनाकर चुनाव लड़ा। यहां प्रचार करने के लिए हिंदुत्व का चेहरा माने जाने वाले उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ खुद कवर्धा विधानसभा में भाजपा प्रत्याशी विजय शर्मा के प्रचार के लिए पहुंचे। जिसका फायदा भी भाजपा को मिला और शहर के साथ ही वनांचल क्षेत्र में भी भाजपा आगे बढ़ गई और पिछले चुनाव में 58000 वोट से जीतने वाले मोहम्मद अकबर इस बार हार गए।
विजय शर्मा की जीत का मुख्य आधार उनकी जनता की समस्याओं को मुखर होकर सामने लाना है। चाहे वह धान खरीदी मामला हो या फिर राशन कार्ड बनवाना बिजली व्यवस्था में सुधार करना जैसे कार्य को वह जनता के बीच जाकर ही कराते रहे। इसके लिए वह अधिकारियों से लड़ते सांस ही जनता की समस्याओं के समाधान के लिए धरना प्रदर्शन तक किया। उन्होंने कवर्धा विधानसभा अंतर्गत मैदानी वनांचल गांव में पानी बिजली सड़क स्वास्थ्य जैसी मूलभूत समस्याओं को दूर करने का वादा किया था। सरकार रहने के बाद भी यह पूरा नहीं हुआ जिससे लोगों में आक्रोश भी था।
कवर्धा विधानसभा में 2695 35 मतदाताओं ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया। भाजपा के प्रत्याशी विजय शर्मा को 1442 257 वोट मिले। वहीं कांग्रेस के प्रत्याशी मोहम्मद अकबर को 104665 वोट मिले। मोहम्मद अकबर को विजय शर्मा ने 39552 वोटो से हराया। इस विधानसभा में तीसरे स्थान पर आम आदमी पार्टी के खड्गराज सिंह रहे उन्हें 6334 वोट मिले। नोटा को 925 वोट मिले। इस विधानसभा से 16 उम्मीदवार चुनाव लड़ रहे थे।
कवर्धा विधानसभा में 81.34% पुरुषों एवं 81.1 15% महिलाओं ने मतदान किया। मोहम्मद अकबर को महिला व पुरुष मिला कर कुल 38.61% वोट मिले। वही विजय शर्मा को 53.22% वोट मिले।
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