प्रयास कलेक्टर की रंग लाई, ममता के आंखों की रोशनी लौटी

प्रयास कलेक्टर की रंग लाई, ममता के आंखों की रोशनी लौटी

जिला रेडक्रॉस समिति के माध्यम से हुआ आंखों का सफल कॉर्नियल ट्रांसप्लांट

गोलू कैवर्त ब्यूरो हेड बलौदाबाजार  : कलेक्टर चंदन कुमार के मानवीय प्रयासों से ममता टंडन को एक नई रोशनी मिली है। बचपन से आंखों में संक्रमण की शिकार हुई आर्थिक रूप से कमजोर ममता की सफल कॉर्नियल ट्रांसप्लांट की गई है जिससे अब उनको देखना प्रारंभ हो गया हैं। भाटापारा तहसील के अंतर्गत ग्राम राजाढार की निवासी 23 वर्षीय ममता टंडन जब दो वर्ष की थी तब उल्टी दस्त के दौरान उसकी आँखों में संक्रमण हुआ जिससे उसकी आँखों की रौशनी जाती रही। उस समय काफी प्रयास के पश्चात भी वह ठीक नहीं हुई और अंधत्व की स्थिति निर्मित हो गई। इसकी जानकारी जब जिला मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ एम पी महिस्वर को हुई तब उन्होंने पहल करते हुए कलेक्टर श्री चंदन कुमार को इस बात से अवगत कराया गया। तब उनके द्वारा  तत्काल संज्ञान लेते हुए मरीज के ऑपरेशन की व्यवस्था रेड क्रॉस फंड के माध्यम से की गई। जिसके तहत उनको 65 हजार रूपये मुहैया कराया गया।

मरीज का रायपुर के एक निजी अस्पताल में सफलतापूर्वक कॉर्नियल ट्रांसप्लांट किया गया। इस संबंध में जानकारी देते हुए जिला मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ महिस्वर ने बताया  की छह साल पहले सिविल अस्पताल,भाटापारा द्वारा प्रयास किया गया था और मरीज को कॉर्निया प्रत्यारोपण के लिए सूची में रखा गया था और प्रत्यारोपण के लिए दाता का इंतजार किया जा रहा था। वर्ष 2023 में राष्ट्रीय बाल सुरक्षा कार्यक्रम (चिरायु) भाटापारा की चिकित्सा अधिकारी डॉ. शारा राम ने खंड चिकित्सा अधिकारी डॉक्टर राजेंद्र माहेश्वरी को इस बात से अवगत करवाया तब खण्ड चिकित्सा अधिकारी ने जिला कार्यालय को केस के संबंध में जानकारी दी। ममता टंडन के परिवार की आर्थिक स्थिति साधारण सी है। अब चूंकि मरीज की आयु 23 वर्ष हो चुकी थी ऐसे में राष्ट्रीय बाल सुरक्षा कार्यक्रम का लाभ इस कारण नहीं मिल पा रहा था।

 जिस कारण निजी अस्पताल में होने वाले खर्च के संबंध में कलेक्टर श्री चंदन कुमार को अवगत कराया जिस पर कलेक्टर ने कार्रवाई करते हुए जिला रेड क्रॉस समिति से उक्त ऑपरेशन के लिए राशि स्वीकृत की और मरीज का रायपुर के एक निजी अस्पताल में सफलतापूर्वक कॉर्नियल ट्रान्सप्लांट ऑपरेशन किया गया। चिरायु की चिकित्सा अधिकारी डॉ शारा राम भी परिजनों के सहयोग हेतु साथ थीं। राष्ट्रीय अंधत्व नियंत्रण कार्यक्रम के नोडल अधिकारी और नेत्र रोग विशेषज्ञ डॉक्टर राजेश कुमार अवस्थी के अनुसार कार्निया आंखों में प्रकाश की किरणों को रेटिना में केंद्रित करने का कार्य करता है जिससे हमें दिखाई देने में मदद मिलती है। किसी कारणवश यदि यह क्षतिग्रस्त हो जाती है तो व्यक्ति में दृष्टिहीनता पैदा होती है।कॉर्नियल ट्रांसप्लांट में कॉर्निया के पूरे या उसके कुछ हिस्से को हटाने और इसे स्वस्थ दानदाता से बदलने की क्रिया की जाती है। l मरीज के परिजनों ने कलेक्टर  चंदन कुमार सहित स्वास्थ्य विभाग को इस ऑपरेशन के लिए धन्यवाद ज्ञापित किया है।









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