नई दिल्ली : आबकारी घोटाला मामले में 50 दिनों बाद जेल से छूटे दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल बाहर आते ही एक्टिव हो गए हैं। रविवार यानी आज सीएम अरविंद केजरीवाल ने आम आदमी पार्टी के विधायकों के साथ बैठक की। इस दौरान सीएम केजरीवाल ने विधायकों को संबोधित करते हुए हुए उनका मनोबल बढ़ाया. उन्होंने अपने विधायकों का धन्यवाद किया कि उनके जेल में रहने के बाद भी दिल्ली को अच्छी तरह से संभाला गया।
सीएम अरविंद केजरीवाल ने आप के विधायकों और कार्यकर्ताओं से कहा, “सुप्रीम कोर्ट का आदेश किसी चमत्कार से कम नहीं था। मुझे मेरे विधायकों के बारे में जेल में पता चलता रहता था। जेल के सेक्योरिटी गार्ड भी हर विधायक की जानकारी रखते हैं। आप लोग बहुत अच्छा काम कर रहे हैं। मेरी चिंता थी कि मेरे जेल जाने से दिल्ली के अस्पतालों में दवाइयां मिलनी बंद हो गईं, बिजली या पानी में दिक्कत आ गई तो विपक्षियों को बहाना मिल जाएगा, लेकिन AAP विधायकों ने सब कुछ बखूबी संभाला और कोई दिक्कत नहीं आने दी।
सीएम केजरीवाल ने आगे कहा कि, न तो वे हमारी सरकार गिरा सके, न ही वे हमारे विधायकों को तोड़ पाए, न ही वे हमारी पंजाब सरकार को नुकसान पहुंचा पाए। उनकी पूरी योजना विफल रही; इसके विपरीत, पूरी राजनीतिक कहानी उनके खिलाफ चली गई।” मुझे पता चला कि इन लोगों ने आपको लालच देकर, धमकाकर आपको तोड़ने की कोशिश की, लेकिन आप सब डटे रहे, इससे पार्टी और देश को भी गर्व है। मैं 21 दिन के लिए बाहर आया हूं और 2 तारीख को फिर वापस जाना है। इसलिए उसके बाद, आप सभी को पार्टी को नियंत्रण में रखना होगा क्योंकि मैं समझता हूं कि केवल आम आदमी पार्टी ही अब इस देश का भविष्य दे सकती है। ”
इंदौर से अक्षय कांति बम और सूरत सीट से नीलेश कुंभानी का जिक्र करते हुए सीएम ने आगे कहा, “मुझे पता चला आप में से कई लोगों को इन लोगों ने टच करने की कोशिश की और तोड़ने की कोशिश की। तरह तरह के लालच और धमकियां दी गईं। मुझे पता चलता रहता था किस किस विधायक से बात की गई है, लेकिन कोई नहीं टूटा। आप सब लोग मजबूत रहे, मैं इसके लिए आप पर गर्व महसूस करता हूं। लोगों को यकीन नहीं होता कि पार्टी कैसी है, इनका कोई नहीं टूट रहा। इंदौर में कांग्रेस का उम्मीदवार चुनाव के पहले ही छोड़ कर चला गया। सूरत में भी कुछ ऐसा ही हुआ।”
वहीं, बीजेपी पर विपक्षी पार्टियों में टूट की जिम्मेदारी का आरोप लगाते हुए अरविंद केजरीवाल ने कहा, “आतिशी, सुनीता, सौरभ भारद्वाज और भगवंत मान से भी चर्चा होती थी तो यही सवाल करता था कि दिल्ली में सब कुछ सही चल रहा है या नहीं? गिरफ्तारी के पहले जब बीजेपी वाले मिलते थे तो कहते थे कि मुझे गिरफ्तार करवा देंगे और फिर मेरी पार्टी तोड़ देंगे और दिल्ली में सरकार गिरा देंगे। यह भी कहते थे कि पंजाब में AAP के विधायकों को खरीदने के बाद भगवंत मान को अपने साथ जोड़ लेंगे। हालांकि, हुआ इससे उल्टा, मेरी गिरफ्तारी के बाद आम आदमी पार्टी नेता और कार्यकर्ता टूटने के बजाय और एकजुट हो गए।”
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