न्यू दिल्ली : शतरंज इतिहास के सबसे युवा वर्ल्ड चैंपियन डी गुकेश ने एक और नया इतिहास अपने नाम कर लिया है। गुकेश को भारत सरकार ने साल 2024 के लिए मेजर ध्यानचंद खेल रत्न अवार्ड से सम्मानित करने का फैसला किया है।
ये भारत सरकार द्वारा दिया जाने वाला सर्वोच्च खेल पुरस्कार है। 29 मई 2006 को जन्मे डी गुकेश खेल रत्न के इतिहास में सबसे कम उम्र में ये पुरस्कार जीतने वाले खिलाड़ी बन गए हैं।
तोड़ा अभिवन बिंद्रा का रिकॉर्ड
भारत के लिए ओलंपिक इतिहास में पहला व्यक्तिगत स्वर्ण पदक जीतने वाले निशानेबाज अभिवन बिंद्रा ने भी साल 2001 में 18 साल की उम्र में ये पुरस्कार अपने नाम किया था। गुकेश ने कुछ दिनों के अंतर से बिंद्रा को पछाड़ दिया है। विश्वनाथन आनंद के बाद खेल रत्न अवार्ड जीतने वाले डी गुकेश दूसरे चेस प्लेयर बने हैं।
चार खिलाड़ियों को मिला साल 2024 के लिए अवॉर्ड
गुकेश के साथ साथ पेरिस ओलंपिक में दो कांस्य पदक जीतने वाली मनु भाकर, पेरिस ओलंपिक में कांस्य पदक जीतने वाली भारतीय भारतीय पुरुष हॉकी टीम के कप्तान हरमनप्रीत सिंह और पैरा एथलीट प्रवीण कुमार को खेल रत्न अवार्ड से नवाजा जाएगा।
साल 1991-92 में हुई थी पुरस्कार की शुरुआत, 2021 में बदला नाम
खेल रत्न अवार्ड की शुरुआत साल 1991-92 में पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी के नाम पर की गई थी। विश्वनाथन आनंद ये पुरस्कार जीतने वाले पहले खिलाड़ी बने थे। इस अवार्ड का नाम साल 2021 नें मौजूदा केंद्र सरकार ने हॉकी के जादूगर मेजर ध्यानचंद के नाम पर करने का फैसला किया। इस अवार्ड को अब मेजर ध्यानचचंद खेल रत्न अवार्ड के नाम से जाना जाता है।
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