आप भी हों जाएं सावधान! पेट्रोल पंप पर कुछ इस तरह से लगाया जा रहा है लोगों को चूना

आप भी हों जाएं सावधान! पेट्रोल पंप पर कुछ इस तरह से लगाया जा रहा है लोगों को चूना

पेट्रोल पंप पर ईंधन भरवाते समय एक आम ग्राहक के मन में हमेशा यह डर रहता है कि कहीं ठगा तो नहीं जा रहा है। अक्सर हम अपनी गाड़ी की टंकी फुल करवाते समय या निश्चित राशि का पेट्रोल भरवाते समय बस मीटर पर जीरो देखते हैं।

उसके बाद सिर्फ बढ़ती हुई संख्या पर नजर रखते हैं और हमें लगता है कि सब कुछ सही है, लेकिन ऐसा बिल्कुल भी नहीं है। दरअसल, इस जीरो के खेल में आपकी कुछ आदतों का फायदा उठाकर पेट्रोल पंप पर आपको बड़े ही शातिराना तरीके से चूना लगाया जा सकता है। हैरान कर देने वाली बात यह है कि यह एक-दो रुपये का मामला नहीं है, बल्कि यह आपकी जेब पर लगातार भारी पड़ सकता है। अधिकतर लोग कुछ ऐसी छोटी-छोटी बातों पर ध्यान नहीं देते हैं, जिनका फायदा पेट्रोल पंप कर्मचारी उठाते हैं। इस आर्टिकल में हम आपको कुछ ऐसे ही ख़ास तरीकों के बारे में बताएंगे, जिनसे पेट्रोल पंप पर अक्सर लोगों को ठगा जाता है और यह भी बताएंगे कि आप कैसे सतर्क रहकर इस ठगी के शिकार होने से बच सकते हैं।

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मीटर पर जीरो के बाद की चाल

अधिकतर लोग पेट्रोल भरवाते समय बस मीटर पर ज़ीरो देखते हैं और फिर सोचते हैं कि काम हो गया। लेकिन यहां एक चाल चली जा सकती है। कुछ पेट्रोल पंपकर्मी चालाकी से मीटर को पूरी तरह रीसेट नहीं करते। जब पिछली गाड़ी का पेट्रोल खत्म होता है, तो मीटर पर कुछ अंक बचे रह सकते हैं (जैसे 0.05 या 0.10)। अगर ग्राहक ध्यान नहीं देता, तो उसी से आपकी रीडिंग शुरू कर दी जाती है। इससे आपको कुछ पैसों का सीधा नुकसान होता है। ऐसे में, आपको पेट्रोल भरवाने से पहले हमेशा सुनिश्चित करें कि मीटर पर '0.00' या जीरो ही दिख रहा हो। अगर ऐसा नहीं है, तो कर्मचारी से इसे रीसेट करने को कहें।

'राउंड फिगर' का लालच और बीच में मशीन रोकना

यह सबसे आम तरकीबों में से एक है। आप 1000 रुपये का पेट्रोल भरवाने को कहते हैं, और कर्मचारी 900 रुपये पर मशीन रोक देता है और आपसे कहता है कि "सर, 100 और डाल दूं?" इस बीच में रोकने से मशीन की गति धीमी हो जाती है या रुक जाती है, जिससे पेट्रोल की डिलीवरी कम हो सकती है। कई बार वे कम मात्रा के लिए मशीन की सेटिंग में हेरफेर कर देते हैं। हमेशा पूरी रकम का पेट्रोल एक बार में भरवाने को कहें और कर्मचारी को मशीन बीच में रोकने न दें। अगर वह रुकता है, तो उसे दोबारा जीरो से शुरू करने को कहें।

तेज रीडिंग मीटर और हवा मिलाना

कुछ पंपों पर मशीन की रीडिंग इतनी तेज़ होती है कि ग्राहक उसे ठीक से देख ही नहीं पाता है। अगर मीटर इतनी तेजी से ऊपर बढ़ रहा है कि आप समझ नहीं पा रहे कि कितनी मात्रा में पेट्रोल गया, तो यह गड़बड़ का संकेत हो सकता है। कई मशीनों में एक छोटी सी डिवाइस फिट कर दी जाती है, जो पेट्रोल के साथ थोड़ी हवा भी भर देती है। इससे मीटर तो सही रीडिंग दिखाता है, लेकिन आपको शुद्ध पेट्रोल कम मिलता है। अगर मीटर की स्पीड बहुत तेज लगे, तो कर्मचारी से उसे धीमा करने को कहें ताकि आप रीडिंग ठीक से देख सकें।

ध्यान भटकाना

यह एक पुरानी लेकिन कारगर तरकीब है। जब आप पेट्रोल भरवा रहे होते हैं, तो कर्मचारी जानबूझकर आपसे बातचीत शुरू कर देते हैं। जैसे 'आपकी गाड़ी अच्छी है' या 'कहां से आ रहे हैं?' इससे आपका ध्यान मीटर से हट जाता है और वे अपनी चाल चल सकते हैं। पेट्रोल भरवाते समय पूरी तरह से मीटर पर ध्यान केंद्रित करें। किसी भी बातचीत में न पड़ें जब तक कि पेट्रोल डलना पूरा न हो जाए।

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क्वालिटी और मात्रा की जांच

सिर्फ मीटर देखना ही काफी नहीं है, पेट्रोल की क्वालिटी और मात्रा पर भी ध्यान दें। हर पेट्रोल पंप पर 5 लीटर की मात्रा जांचने के लिए एक 'फाइव-लीटर कैन' होता है। आप कर्मचारी से अपनी आंखों के सामने इस कैन में 5 लीटर पेट्रोल डालने और मीटर की सटीकता जांचने के लिए कह सकते हैं। पेट्रोल के रंग और गंध पर ध्यान दें। अगर रंग में कोई बदलाव या असामान्य गंध महसूस हो तो तुरंत शिकायत करें। शुद्ध पेट्रोल का रंग हल्का पीला होता है और उसमें एक विशिष्ट गंध होती है। अगर आपको कोई संदेह हो, तो जांच के लिए कहने से न हिचकिचाएं। यह आपका अधिकार है।

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