मैनचेस्टर : अगर आपने 2002 में एंटीगा में टूटे जबड़े के साथ अनिल कुंबले को गेंदबाजी करते हुए नहीं देखा, अगर आपने 2023 में लार्ड्स में पिंडली की चोट के साथ नाथन लियोन को एक पैर पर दौड़ते हुए नहीं देखा तो आपको पैर में फ्रैक्चर के बावजूद लड़खड़ाते हुए ओल्ड ट्रैफर्ड की पिच की तरफ बढ़ने औेर एक टांग के भरोसे 65 गेंद तक मैदान में टिक कर चौके-छक्के मारने वाली ऋषभ पंत (54) की बहादुर पारी को देखना चाहिए।
मेरे हिसाब से यह क्रिकेट इतिहास की सबसे शानदार पारी है। जब विपक्षी टीम सहित दुनिया के सभी क्रिकेट प्रशंसक ये मानकर चल रहे थे कि भारतीय विकेटकीपर का इस मैच में उतरना मुश्किल है, तब वह उतरे ही नहीं बल्कि अपना अर्धशतक भी पूरा किया और भारत को पहली पारी में 358 रनों तक पहुंचाने में मदद भी की।
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हालांकि इंग्लैंड के बल्लेबाजों ने पांच टेस्ट मैचों की सीरीज के चौथे मुकाबले के दूसरे दिन का खेल खत्म होने तक दो विकेट पर 225 रन बना लिए। सीरीज में पहले से ही 2-1 से आगे चल रही इंग्लिश टीम अब पहली पारी में सिर्फ 133 रन पीछे है।
पंत का जवाब नहीं
बुधवार को वोक्स की गेंद रिवर्स स्वीप करने वाले पंत के पैर पर लगी और उन्हें अस्पताल ले जाया गया। जहां उनका स्कैन हुआ जिसमें फ्रैक्चर निकला। बुधवार की रात भारतीय टीम प्रबंधन ने बैठक की और निर्णय हुआ की जरूरत पड़ने पर पंत बल्लेबाजी करेंगे।
पंत से इस बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा, जरूर खेलूंगा। सुबह मूनबूट पहनकर पंत थोड़ी देर से आए और फिर सफेद जर्सी के साथ पवेलियन में डट गए। रवींद्र जडेजा के जल्दी आउट होने के बाद शार्दुल और सुंदर ने पहले सत्र में नई गेंद से गेंदबाजी कर रहे इंग्लिश गेंदबाजों का बेहतरीन सामना किया।
जब कप्तान बेन स्टोक्स ने ठाकुर की 41 रनों की जबरदस्त पारी का अंत किया तो इंग्लिश टीम उत्साहित थी क्योंकि उन्हें लगा कि अब विपक्षी टीम को वे कुछ ओवरों में ही आउट कर देंगे लेकिन कुछ मीटर की दूसरी पर रेलिंग पकड़कर सीढ़ियों से उतरते हुए पंत दिखाई दिए।
वह बेहद सावधानी से एक-एक कदम रख रहे थे। सारे कैमरे उनकी तरफ थे। लड़खड़ाते हुए वह बाउंड्री के पास आकर मैदान को छूकर प्रणाम करते हैं। मीडिया बाक्स, ड्रेसिंग रूम, कमेंट्री रूम और दर्शक दीर्घा में बैठे लोग खड़े होकर इस निडर योद्धा का तालियों से स्वागत करते हैं। इंग्लिश टीम भी मैदान पर उन्हें देखकर भौचक्क थी।
पैरों पर आती रहीं गेंदें
पंत टूटे पैर के साथ सिर्फ विकेट पर खड़े नहीं थे बल्कि रन के लिए दौड़ भी रहे थे। सभी थ्रो उनकी तरफ आ रहे थे और वह यह जानकर हेलमेट के नीचे से व्यंगात्मक मुस्कान बिखेर रहे थे। पंत लंच तक टिके रहे और भारत का स्कोर 321 रन हो गया।
ठाकुर और सुंदर ने छठे विकेट के लिए 48 रन की साझेदारी की थी तो पंत ने वाशिंगटन और बुमराह के साथ मिलकर स्कोर को 349 तक पहुंचाया। पदार्पण करने वाले अंशुल कंबोज शून्य पर आउट हुए। इंग्लिश गेंदबाज पंत की टांगों पर की तरफ कई गेंद फेंक रहे थे लेकिन वह टिके हुए थे।
सीरीज में पांचवीं 50 से अधिक रन की पारी
पंत जब बुधवार को रिटायर्ड हर्ट होकर मैदान से गए थे तब उन्होंने 37 रन बनाए थे और वह 17 रन जोड़कर गुरुवार को आउट हुए। वह एक टेस्ट सीरीज में पांच 50 से अधिक अर्धशतक लगाने वाले पहले भारतीय विकेटकीपर बन गए। पंत ने दो भारतीय विकेटकीपरों को इस मामले में पीछे छोड़ा। एक फारुख इंजीनियर, जिनके नाम से इस मैदान में एक स्टैंड बनाया गया है और दूसरे महेंद्र सिंह धोनी, जो पंत के आदर्श हैं।
पंत स्पष्ट रूप से असहज दिख रहे थे। बस किसी तरह चल रहे थे लेकिन जैसे ही रन लेने की स्थिति बनती वह दौड़ने के लिए तत्पर हो जाते। लोग कहते हैं कि फलाने बल्लेबाज का पैर नहीं हिला तो आउट हो गए लेकिन यहां तो पंत किसी तरह पैरों पर खड़े थे। उन्होंने 111वें ओवर में आर्चर पर मिडविकेट पर छक्का मारा। उन्होंने गेंद को बाउंड्री के पार पहुंचाने में पूरी ताकत लगा दी। आर्चर ने स्लोअर गेंद फेंककर चाल चली लेकिन पंत के सामने वह फेल हो गई। उन्होंने इसके साथ सहवाग के 91 टेस्ट छक्कों की बराबरी की।
112वें ओवर की पहली गेंद पर उन्होंने स्टोक्स की गेंद पर आफ साइड में बेहतरीन चौका मारकर अर्धशतक पूरा किया। यह उनके करियर का 18वां और सबसे शानदार अर्धशतक रहा। पंत 54 रन बनाकर आर्चर की गेंद पर बोल्ड हो गए। ओल्ड ट्रैफर्ड के दर्शक उनकी सराहना करने के लिए खड़े हो गए। इंग्लैंड के कुछ खिलाडि़यों ने भी उनका उत्साहवर्धन किया।
कमाल के स्टोक्स
पंत के अलावा इस मैच में इंग्लिश कप्तान बेन स्टोक्स की बात करनी चाहिए। स्टोक्स इस सीरीज को जीतने के लिए लंबे-लंबे स्पैल कर रहे हैं और कुछ भी कर गुजरने को तैयार हैं। उन्होंने पिछले आठ साल में पहली बार पारी में पांच विकेट लेकर भारतीय टीम को परेशान किया। वह इस सीरीज में 16 विकेट ले चुके हैं। इस मैच में उनका साथ जोफ्रा आर्चर ने तीन विकेट लेकर दिया। उन्होंने इस सीरीज में आठ विकेट लिए जिसमें सात विकेट बाएं हाथ के बल्लेबाजों के हैं।
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पांचवें टेस्ट में नहीं खेलेंगे पंत
पंत चौथे टेस्ट की पहली पारी में बल्लेबाजी करने जरूर उतरे लेकिन वह ओवल में होने वाले पांचवें टेस्ट में नहीं खेलेंगे। ध्रुव जुरैल को पांचवें टेस्ट में खेलने का मौका मिल सकता है। जुरैल ने तीसरे और चौथे टेस्ट में पंत के चोटिल होने पर विकेटकीपिंग की है। पंत के दाहिने पैर की हड्डी में फ्रैक्चर हुआ है।
भारतीय चयनकर्ता पंत की जगह पांचवें टेस्ट में बैकअप विकेटकीपर के तौर पर इशान किशन को बुलाना चाहते थे लेकिन वह भी चोटिल बताए जा रहे हैं। स्कूटी चलाते समय उन्हें चोट लगी थी जिस कारण उनके टांके लगे हैं। ऐसे में तमिलनाडु के नारायण जगदीशन को बैकअप के तौर पर बुलाया जा सकता है।
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