प्रेमानंद महाराज एक प्रसिद्ध सनातन धर्म प्रचारक, भागवत कथा वाचक और आध्यात्मिक गुरु हैं जो अपने सरल, प्रभावशाली और भक्ति से परिपूर्ण प्रवचनों के लिए पूज्य हैं। वे श्रीमद्भागवत कथा, श्रीराम कथा और गीता के माध्यम से लोगों को धर्म, सेवा, संयम और भक्ति का मार्ग बताते हैं। उनके प्रवचन सिर्फ धार्मिक ही नहीं, बल्कि व्यावहारिक जीवन के लिए भी प्रेरणादायक होते हैं। वे लोगों को जीवन की गहराइयों को समझने और आत्मिक शांति प्राप्त करने के लिए प्रेरित करते हैं। वृंदावन में महाराज जी अपना दरबार लगाते हैं जहां वे अपने अनुयायियों के हर सवाल का जवाब देते हैं। दरबार के दौरान ही जब किसी महिला ने महाराज जी से सवाल किया कि भजन, भोजन, खजाना और यारी छुपाकर क्यों रखनी चाहिए तो उस पर महाराज जी ने कहां कि इन चीजों के बारे में बताने से हानि हो सकती है। जानिए महाराज जी ने इस पर और क्या कहा।
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प्रेमानंद महाराज के यूट्यूब चैनल भक्ति मार्ग पर एक वीडियो साझा किया गया जिसमें बताया गया कि क्यों इन चार चीजों को छुपाकर रखने में ही सभी की भलाई है। इस पर उदाहारण देते हुए प्रेमानंद महाराज जी कहते हैं कि जैसे अगर आपके पास पर्स में 10 लाख रुपए हों और आप सभी को बता दें। तो मुश्किल से 1 घंटे ही ये पैसा आपके पास टिक पाएगा। कोई न कोई उसे तरकीब लगाकर इस पैसे को लेकर चला ही जाएगा। यानी इससे आपको नुकसान ही होगा।
आगे महाराज जी कहते हैं कि ये मर्यादा है कि अपने प्रेम को, भजन को, खजाने को छुपाकर रखना चाहिए। अगर छुपाओगे नहीं तो ये क्षीण हो जाएगा क्योंकि जितना ये चीजें छुपाओगे उतना ही इनमें बढ़ोतरी होगी और जितना प्रकाशित करोगे उतना ही कम होती जाएंगी। ऐसे ही अपनी दिनचर्या को भी दूसरों के सामने सार्वजनिक नहीं करना चाहिए। अगर सार्वजिनक कर दोगे तो वो पक्का ही छूट जाएगी। इस बात का ध्यान रखें कि आप जो भजन करते हैं उस बारे में भी कोई जान न पाये।
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