रायपुर : रायपुर के सूटकेस मर्डर कांड के आरोपी पति-पत्नी को पुलिस दिल्ली से रायपुर ले आई है। इस दौरान एयरपोर्ट पर दोनों मीडिया के सामने अपना मुंह छिपाते और सवालों से बचते दिखे। एसएसपी लाल उमेद सिंह ने बताया रायपुरा इंद्रप्रस्थ कॉलोनी में मोमिनपारा निवासी किशोर पैकरा (50) का कत्ल पॉपर्टी के पैसों के लिए किया गया था।
किशोर मोमिनपारा के घर में अकेले रहता था। आरोपी वकील अंकित उपाध्याय उसके संपर्क में था। किशोर ने अपनी प्रॉपर्टी वकील के माध्यम से बेची थी। वकील ने ज्यादा कीमत पर बेचकर किशोर को कम पैसे दिए थे। ये राज खुलने के बाद से किशोर वकील से अपने पैसे मांग रहा था। इसी वजह से वकील ने अपनी पत्नी शिवानी और दो अन्य युवक के साथ मिलकर हत्या की साजिश रची थी। आरोपी वकील के पिता पुलिस में रह चुके हैं। वे एएसआई पद से रिटायर हुए थे। अंकित और पत्नी ने किशोर का गला हथियार से काटकर पहले उसकी हत्या की। फिर उसकी लाश को सूटकेस में भरकर रख दिया। लाश से गंध न आए इसलिए उन्होंने सूटकेस में सीमेंट का प्लास्टर किया। उसके बाद भी जब लाश से दुर्गंध उठी तो उन्होंने रविवार को गोलबाजार से ट्रंक खरीदा। उसे इंद्रप्रस्थ स्थित किराये के फ्लैट में लेकर आए। वहां सूटकेस में ठूंसी लाश को ट्रंक में भरा। सोमवार की सुबह ट्रंक वहीं थोड़ी दूर स्थित झाडिय़ों में फेंक दिया। दोपहर को आस-पास के लोगों ने दुर्गंध से परेशान होकर पुलिस को ट्रंक की सूचना दी। उसके बाद लाश बरामद की गई। पुलिस को कुछ घंटों के भीतर ही वकील और उसकी पत्नी का पता चल गया। ये जानकारी भी मिल गई कि दोनों फ्लाइट से दिल्ली रवाना हो गए हैं।
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लगातार रायपुर शहर में अपराध बढऩे लगे। जिसका मुख्य कारण विगत डेढ़ दो साल से पुलिस वेरिफिक़ेशन नहीं होना बताया जा रहा है हाल में ही अलग अलग प्रदेशों से बाहरी लोगों का लगातार आवागमन बड़ा है जिसके कारण बोरिया कला छछानपैरी, सेजबहार, कमलविहार, डूंडा, टाटीबंध, गोगांव, भनपुरी, सिलतरा, बीरगांव, मोवा, सड्डू, दोदेखुर्द, भाटागांव, महादेवघाट, छेड़ीखेड़ी, मंदिर हसौद, विधानसभा रोड में लगातार निर्माण बड़े पैमाने में होने के कारण बाहर के कर्मचारी और मजदूरों का जमावड़ा जिसमें कुछ अपराधी तत्व के लोग भी शामिल है। यही वजह है कि अपराधियों की जनसंख्या लगातार आउटर कालोनियों में बढ़ते जा रही है। पुलिस वेरिफिकेशन नहीं होने का फायदा शातिर अपराधी उठा रहे हैं और आउटर कालोनियों को अपना सुरक्षित ठिकाना बनाए हुए है। पुलिस गंभीरता से जांच करे तो बड़े मामले सामने आ सकते हैं।
रायपुर में कारोबारी ने चलती गाड़ी से फेंकी लाश: पुलिस को बोला-ड्रग्स के ओवरडोज से तबीयत बिगड़ी
रायपुर में चलती गाड़ी से एक कारोबारी ने लाश को बाहर फेंक दिया। कारोबारी का कहना है कि लडक़े की मौत नशे के ओवरडोज की वजह से हुई है। युवक की जब तबीयत बिगड़ी तब वह हड़बड़ा गया। इस दौरान कार में एक लडक़ी भी मौजूद थी वह भी नशे में चूर थी। मौके पर पहुंची पुलिस ने सीसीटीवी फुटेज की मदद से कार की पहचान कर कार मालिक सहित एक युवती और दो युवकों को हिरासत में लिया है। फिलहाल उनसे पूछताछ जारी है। यह पूरा मामला कबीर नगर थाना क्षेत्र के वाल्मीकि नगर इलाके का है। घटना 24 जून के शाम करीब 7 बजे की है। मृतक के हाथ में मंदीप सिंह लिखा हुआ है। पुलिस को सूचना मिली कि एक सफेद कलर की क्रेटा गाड़ी से सडक़ में अचानक युवक को धकेल दिया गया। आसपास के लोगों ने पुलिस को सूचना दी। युवक को ्रढ्ढढ्ढरूस् अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने युवक को मृत घोषित कर दिया। इस मामले में पुलिस ने आसपास ष्टष्टञ्जङ्क कैमरों की मदद से गाड़ी का पता लगाया।
कपड़ा व्यापारी है मामले का आरोपी : इस मामले में पुलिस ने क्रेटा कार के मालिक संतोष मिश्रा को हिरासत में लिया है। 44 साल का आरोपी हीरापुर का रहने वाला है। उसकी कपड़े की दुकान है। घटना के दौरान कार खुद संतोष मिश्रा चल रहा था। वहीं कार के भीतर 19 साल की साधना अग्रवाल उर्फ भूरी भी सवार थी। पुलिस को पूछताछ में पता चला है कि मृतक ड्रग्स का नशा करता था। घटना के पहले तीनों ने नशा किया था।
कार में मौजूद युवती सेक्स वर्कर : पुलिस जांच में यह बात सामने आई है कि कार में मौजूद युवती सेक्स वर्कर है और वह आदतन नशेड़ी है। शुरुआती पूछताछ में यह जानकारी मिली है कि कार के अंदर सभी लोग नशे का सेवन कर रहे थे। इसी दौरान मंदीप ने ड्रग की अधिक मात्रा ले ली, जिससे उसकी तबीयत बिगड़ गई। साथी डर गए और अस्पताल ले जाने की बजाय शव को सुनसान इलाके में फेंककर फरार हो गए। हिरासत में लिए गए चारों जिसमें कार मालिक, एक अन्य युवक और युवती नशे की हालत में पाए गए। पुलिस ने सभी के ब्लड सैंपल लेकर जांच के लिए भेज दिए हैं। रिपोर्ट आने के बाद यह स्पष्ट होगा कि इन्होंने किस प्रकार का नशा किया था।
ओवरडोज होने से मौत या हत्या
पुलिस से पूछताछ में दोनों आरोपियों का कहना है कि मंदीप सिंह ड्राइवर का काम करता था। वह नशे का भी आदी था। घटना के पहले मंदीप ने अपनी नस में इंजेक्शन के माध्यम से नशीला पदार्थ लगा रहा था। तभी ओवरडोज होने से उसकी तबीयत अचानक बिगड़ गई। फिर आरोपियों ने डर कर उसे कार से नीचे फेंक दिया। पुलिस अफसरों का कहना है कि मौत की असल वजह पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट के बाद सामने आ पाएगी।
राजधानी को मार्डन सिटी बनाने के दावे करने वाले रायपुर विकास प्राधिकरण के दावे को अपराधी ठेंगा दिखा रहे है। राजधानी की सबसे मार्डन कालोनी आज अपराधियों के जद में है। यहां रहने वाले परिवार के लोग यहां आकर पछता रहे है। आरडीए की सबसे बड़ी रिहायशी कालोनी अब पूरी तरह गुंडे बदमाशों औऱ अपराधियों के कब्जे में जा चुका है। सबसे ज्यादा अपराध इसी कालोनी में घटित होने से अपना मकान का सपना देखने वालों का सपना पूरी तरह टूट चुका है। इंद्रप्रस्थ कालोनी परदेशी हत्यारे, सुपारी किलर, गुंडों बदमाशों , तस्करों , वैश्वावृत्ति करने वालों ठिकाना बन चुका है। पिछले तीन साल के भीतर ही कालोनी में हत्या जैसी 5 वारदातें हो चुकी है। आरडीए ने बाहरी परदेशियों को कमाई के चक्कर में बिना दस्तावेजों के सत्यापन किए बाहरी राज्यों के कुख्यात अपराधिय़ों प्लेट बेच दिया, जिसका खामियाजा वहां रह रहे स्थानीय डाक्टर, पत्रकार, व्यवसायी, रोजगार से जुड़े लोग उठा रहे है। इस कालोनी का नाम भले ही इंद्रप्रस्थ रखा हो पर यहां तो किराए के फ्लेट लेकर लोग गरमगोश्त का धंधा और रसिको के लिए रासलीला, डांस नाच गाने का इंतजाम यही कुख्यात अपराधी कर रहे है। परदेशी लोग इंद्प्र्रस्थ कालोनी को अपने शौक और अपराध के बाद फरारी काटने का ठिकाना बना रखा है। इँद्प्र्रस्थ फेस -2 में ईडब्ल्यू एस के 1200 और एलआईजी के 900 प्लेट के रहवासी यहां की आपराधिक गतिविधियों से त्रस्त है। पुलिस में शिकायत करने के बाद भी पुलिस को वेरिफिकेशन करने की फुर्सद नहीं है। यदि पुलिस ईमानदारी से इंद्रप्रस्थ कालोनी की वेरिफिकेशन करें तो सैकड़ों , बांग्लादेशी और रोहिग्या पकड़े जा सकते है जो केवल अपराध को अंजाम देने के लिए यहां रह रहे है। इंद्रप्रस्थ कालोनी में रहने वाली महिलाएं भी सुरिक्षत नहीं है, उनके घरों के छत के ऊपर सूख रहे कपड़ों को अज्ञात चोर दिन दहाड़े छत में जाकर चोरी करके ले जा जाता है। इस कालोनी में अधिकांश प्लेट लोगों ने निवेश के लिए खरीद रखा है और उन फ्लेटों को पैसे के लालच में जिन लोगों को फ्लेट किराए पर दिया है उनका पुलिस वेरिफिकेशन नहीं काराया और किराए पर उठा दिया है। हर महीनों मोटी कमाई के चलते वो फ्लेट में कौन रह रहा है क्या गतिविधि चल रही है देखने तक नहीं आते है। इसी का अपराधी तत्व फाय़दा उठा कर जो उनके मन में आ रहा है करने पर ऊतारू है। इंद्रप्रस्थ कालोनी पूरी तरह अभिशप्त कालोनी बन गई है। जहां लोग पल-पल जी रहे औऱ पल -पल मर रहे है। कोई सुनवाई नहीं है।
पिछले तीन सालों में इंद्रप्रस्थ कालोनी में डकैती, हत्या, चोरी, आगजनी की घटनाएं घट चुकी है। लेकिन आज तक किसी भी अपराध का खुलासा नहीं हो पाया है। हाल ही में पेटी में लाश मिलने की घटना से पूरा इंद्प्र्रस्थ कालोनी सन्नाटा पसरा हुआ है। इस घटना को अइंद्रप्रस्थ कालोनी में ही अंजाम दिया गया। यहां रह रहे सैकड़ों परिवार असुरक्षा के चलते अब यहां से रूखसत करने का मन बना लिया है। इंद्प्र्रस्थ में कोई भी रहवासी सुरक्षित नहीं है। यहां दिन भर आपराधिक और संदिग्ध लोगों की आवाजाही से यहां के रहवासी भयग्रस्त है। कालोनी वालों ने अपने खर्चे से गार्ड भी तैनात कर रखा है उसके बाद भी अपराधी गार्ड को डरा धमका कर खाली फ्लेट में जबरदस्ती कब्जा कर रंगीनियत को अंजाम दे रहे है।
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